राजधानी दिल्ली में CII की नेशनल काउन्सिल की मीटिंग हुई। इस बैठक में उद्योग जगत की बड़ी कंपनियों ने भाग लिया। उद्योग जगत से विचारों को साझा करने के लिए केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी, सूचना प्रसारण एवं पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावडेकर, कॉरपोरेट मामलो के राज्य मंत्री हरदीप पूरी और संचार एवं विधि मंत्री रविशंकर प्रसाद ने भी इस कार्यक्रम में भाग लिया।
सीआईआई नेशनल काउन्सिल बैठक में उद्योग जगत के साथ सरकार के सामंजस्य पर चर्चा हुई। साथ ही यह भी कि इंडस्ट्री सरकार की नीतियों को किस तरह लेकर चले। इस आयोजन का मकसद सरकार और व्यापार जगत के बीच भरोसे को मजबूत करने का भी था। इस मौके पर सड़क परिवहन एवं राष्ट्रीय राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि उद्योग जगत को ग्रामीण अर्थव्यवस्था पर भी ध्यान देना चाहिए। गडकरी ने उद्योग जगत को अलग अलग उद्यमो के लिए क्लस्टर बनाने की आवश्यकता से अवगत कराया। उहोंने कहा कि सरकार व्यापार जगत को पूरी तरह से मदद के लिए तैयार है। शर्त यह है कि रोज़गार बढ़ना चाहिए।
इस मौके पर पर्यावरण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि विकास और पर्यावरण एक साथ चल सकता है। उन्होंने कहा कि पर्यावरण क्लीयरेंस के लिये हम पारदर्शिता के साथ आगे बढ़ रहे है। उन्होंने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर पर्यावरण के हित के लिए लॉबी करने में उद्योग जगत की मदद मांगी। पर्यावरण मंत्री ने शोध को बढ़ावा देने की ज़रूरत पर ज़ोर दिया।
आवास एवं शहरी विकास राज्य मंत्री हरदीप पूरी ने कहा कि सरकार की लाभकारी योजनाओ से लोगो को सीधा फायदा हुआ और वे सशक्त हुये। उन्होंने कहा कि उद्योग जगत देश के विकास में सरकार के आंख और कान बन सकते है।
संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी और विधि मंत्री रविशंकर प्रसाद ने कहा कि वो चाहते है कि भारत की डिजिटल अर्थव्यवस्था ट्रिलियन डॉलर इकॉनमी बने। उन्होंने कहा कि हमारी प्राथमिकता डिजिटल विकास है। इसमें डिजिटल गाँव, ई हॉस्पिटल, ई वीजा, ई हाइवे जैसे कई प्रयास शामिल है। रविशंकर ने कहा कि डिजिटल क्रांति के बढ़ने से संचार उपकरणों के व्यवसाय की संभावनाएं बढ़ी है।
CII भारत मे उद्योगों के विकास के लिए वातावरण बनाने और सरकार और उद्योग जगत के बीच बेहतर संबंध बनाने के लिए बड़ा मंच है। इस तरह के मौके एक प्रगतिशील व्यापारिक सोच और सरकार के सकारात्मक रवैये को पेश करता है।
